प्रकाशित: फ़रवरी 02, 2017 06:57 PM IST | अवधि: 3:11
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बजट में राजनीतिक चंदे पर नकेल कसने के प्रावधान करके सरकार की वाहवाही तो हो रही है, लेकिन क्या वाकई राजनीतिक फंडिंग में पारदर्शिता आएगी? क्योंकि कैश में चंदा लेने की सीमा दो हजार तक भले ही सीमित कर दी गई हो, लेकिन इससे काले धन पर रोक लग पाएगी. इस पर संदेह के सवाल उठ रहे हैं...
(सौजन्य : लोकसभा टीवी)