स्वयंसेवक होने पर गर्व, इसी वजह से यहां तक पहुंचा : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी
Sep 05, 2015 00:29
Published OnSep 04, 2015 16:50
Last Updated OnSep 05, 2015 00:29
Reported by Agencies
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (फाइल फोटो)
नई दिल्ली:
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि वह आरएसएस की विचारधारा और 'पंक्ति में आखिरी व्यक्ति' के विकास के लिए उसकी प्रतिबद्धता को अच्छी तरह से समझते हैं। पीएम मोदी ने जोर देकर कहा कि सरकार देश को विकास और आत्मनिर्भरता के मार्ग पर आगे बढ़ाएगी। सूत्रों के अनुसार करीब 15 मिनट तक दिए गए अपने भाषण में पीएम मोदी ने कहा कि उन्हें स्वयंसेवक होने पर गर्व है। और इसी वजह से वह आज जहां हैं, वहां तक पहुंचे हैं। पीएम ने कहा कि संघ से मार्गदर्शन मिला है।
पीएम मोदी ने आरएसएस और उससे संबद्ध संगठनों की तीन दिवसीय बैठक में कहा, 'मैं भी संघ से हूं और विकास और अंत्योदय (आखिरी व्यक्ति का विकास) के लिए उसकी प्रतिबद्धता को समझता हूं।' इस बैठक में संघ परिवार, भाजपा और सरकार के शीर्ष पदाधिकारियों ने हिस्सा लिया।
आरएसएस की ओर से भाजपा में प्रतिनियुक्त पार्टी महासचिव राम माधव ने कहा कि प्रधानमंत्री ने इस बारे में बात की कि पिछले 15 महीने में किस तरह से वह देश को आगे बढ़ाने और पूर्ववर्ती सरकार की अव्यवस्थाओं को साफ करने में सफल रहे हैं।
पीएम मोदी ने विश्वास जताया कि वह देश को आत्मनिर्भरता और विकास के रास्ते पर आगे बढ़ाने में सफल रहेंगे। उन्होंने इसके साथ ही गरीबों, वंचितों, पिछड़ों और अंत्योदय के प्रति अपनी सरकार की प्रतिबद्धता भी दोहरायी।
माधव ने प्रधानमंत्री के हवाले से कहा कि वह उस दिशा में अपनी सरकार के प्रयासों के प्रति काफी प्रतिबद्ध हैं।
पीएम मोदी ने अपनी सरकार के 15 महीने के अनुभव का उल्लेख करते हुए कहा, ‘‘हमें पूरा विश्वास है कि बहुत जल्द आने वाले समय में चीजें बेहतर होंगी।’’ प्रधानमंत्री ने कहा कि उनकी सरकार चाहती है कि भारत सुरक्षा और अर्थव्यवस्था के मामले में आत्मनिर्भर बने और वह आयातों पर अधिक निर्भर न हो।
पीएम मोदी ने कहा, ‘‘हम सरकार को उस दिशा में आगे बढ़ाने को लेकर प्रतिबद्ध हैं।’’ प्रधानमंत्री ने इसके साथ ही आम आदमी की मदद के लिए विभिन्न क्षेत्रों में अपनी सरकार की ओर से उठाये गए कदमों को रेखांकित किया।
उन्होंने इसके साथ ही अपनी सरकार की पहलों को आगे ले जाने में आरएसएस और उसके संबद्ध संगठनों का सहयोग मांगा।